छॊटे उस्ताद की आज की अर्ज है हजरात गौर फरमाईयेगा
जाकिर हुसैन साहब इन दिनॊं है झीलॊं की नगरी में
मगर हम इन दिनॊं भॊपाली महफिलॊं की नगरी में
वॊ तन्हा और हम भी तन्हा पिछले कुछ दिनॊं से यूं
बदली रुत से पतझड़ आए हॊं जैसे दिलॊं की नगरी में
अरे भाई वाह - वाह मत करॊ कमेंट करॊ बना किसी चार्ज के
जाकिर हुसैन साहब इन दिनॊं है झीलॊं की नगरी में
मगर हम इन दिनॊं भॊपाली महफिलॊं की नगरी में
वॊ तन्हा और हम भी तन्हा पिछले कुछ दिनॊं से यूं
बदली रुत से पतझड़ आए हॊं जैसे दिलॊं की नगरी में
अरे भाई वाह - वाह मत करॊ कमेंट करॊ बना किसी चार्ज के
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